अशोका इंटीट्यूट में अंबेडकर जयंती धूमधाम से मनाई गयी


पहडिया स्थित अशोका इंस्टीट्यूट में संविधान निर्माता डा0 भीमराव अंबेडकर, चक्रवर्ती सम्राट अशोक, राष्ट्रपिता  ज्योतिबा राव फुले जी की जयंती के अवसर पर आयोजित गोष्ठी का उद्घाटन डा0 स्वरुपानंद भंते ने टीप जलाकर और महापुरुषों के चित्र पर पुश्पांजलि अर्पित करने के साथ किया। इस अवसर पर अशोका इंस्टीट्यूट के संस्थापक ई0 अशोक मौर्य संस्थान के चेयरमैन ई0 अंकित मौर्य वाइस चेयरमैन डा0 अमित मौर्य पूर्व विधायक उदय लाल मौर्य, हीरा लाल मौर्य पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष मधुकर मौर्य सहित अन्य अतिथि उपस्थित रहे।  
 डा0 भीमराव अंबेडकर जयंती के अवसर पर सर्वप्रथम भगवान बुद्ध की आराधना की गयी तत्पष्चात् मुख्य वक्ता डा0 स्वरुपानंद भंते ने समाज के लोगों को जागृत करते हुए बताया हमें अपने देश के महापुरुशों को कभी भूलना नहीं चाहिए क्योंकि भारत में शिक्षा के क्षेत्र में डा0 अंबेडकर ज्योतिबा राव फुले और चक्रवर्ती सम्राट अशोक जिन्होंने सबसे ज्यादा विश्वविद्यालय बनवाए और भारतवर्ष का नाम पूरे विश्व में स्थापित किया हम अपनी महिलाओं से आह्वान करेंगे कि व अपने घरों में इन महापुरुषों की तस्वीर अवश्य लगाए और नित्य सोने से पहले उनके चित्र को जरुर देखें और बच्चों को उनके बारे में बताएं जिससे आने वाली संतानें महापुरुषों के जैसी हों और समाज के साथ साथ देश भी मजबूत हो।
 चेयरमैन ई0 अंकित मौर्य ने अपने संबोधन में कहा कि मौर्य साम्राज्य के बाद हमारी सामाजिक स्थिति का स्तर इतना नीचे चला गया कि हमें पिछडी जाति में शामिल कर दिया गया इसलिए हम अपने समाज के लोगों से ये आहृवान करते हैं कि वो खुद आधी रोटी खाएं लेकिन अपने बच्चों को शिक्षित करें तभी हम डा0 अंबेडकर  के सपनों को साकार कर सकते हैं वक्ताओं की कडी में ई0 नागेन्द्र मौर्य कहा हम शिक्षा के बिना अखण्ड भारत की परिकल्पना नहीं कर सकते क्योंकि शिक्षा ही ऐसा माध्यम है जिससे हमारा समाज अपने खोए हुए गौरव को वापस ला सकेगा। समाज के लोगों से कहा है कि हमें अपने बच्चों की भरपूर मदद करनी चाहिए क्योंकि किसी गांव के बच्चे दस वर्ष तक मेहनत से पढते हैं तो वह गांव सौ साल आगे चला जाता है, चहनियां की डा0 सरिता मौर्या महिलाओं और बच्चों के उत्थान पर काम कर रहीं है। कुशवाहा महासभा के अध्यक्ष सकल नारायण मौर्य महापुरुषों के जीवन पर प्रकाश डाला इंदुरानी कशवाहा ने महिलाओं की भागीदारी पर जोर देते हुए कहा कि समाज में पचास प्रतिशत महिलाओं के योगदान के लिए बाबा साहब ने भी कहा है पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष मधुकर मौर्य ने अपने संबोधन में महापुरुषों के योगदान पर प्रकाश डाला।
 पूर्व विधायक उदय लाल मौर्य ने कहा शिक्षा के लिए गरीबी कोई मायने नहीं रखती गरीब किसान का बच्चा भी पढलिखकर डाक्टर इंजीनियर बन सकता है इसके लिए समाज हमेशा उसके साथ रहेगा।कार्यक्रम का संचालन अशोक आंनद और सह संचालन संजय प्रधान ने किया इसके पश्चात सहभोज के साथ समारोह का समापन हुआ।

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