आखिरकार अजीत हत्या काण्ड में पूर्व सांसद धनन्जय सिंह कानून की जद में आ ही गये,गैर जमानती वारंट जारी
जौनपुर। बाहूबली नेता एवं पूर्व सांसद धनन्जय सिंह पर लखनऊ की पुलिस ने कानून का शिकंजा कसते हुए विगत माह लखनऊ में पूर्व ब्लाक प्रमुख अजीत सिंह हत्या काण्ड में अभियुक्त बना दिया है। इस हत्या काण्ड में पूर्व सांसद को 120 बी का आरोपी बनाया गया है। जिसके तहत लखनऊ की सीजेएम कोर्ट ने धनंजय सिंह की गिरफ्तारी के लिए वारंट जारी कर दिया है।
लखनऊ में हुई गैंगवार की घटना में अजित सिंह की हत्या किया गया था जिसमें शामिल एक शूटर काउपचार करने वाले चिकित्सक डॉ. एके सिंह ने अपने बयान में पूर्व सांसद बाहुबली नेता धनंजय सिंह का नाम लेते हुए कहा था कि उन्हेंं फोनकर घायल शूटर के इलाज करने के लिए कहा था। उन्हेंं नहीं पता था कि घायल व्यक्ति अपराधी है और उसे गोली लगी है। डॉक्टर एके सिंह पर विधिक कार्यवाही के बाद पांच लाख रुपये के निजी मुचलके पर उन्हेंं थाने से रिहा गया था।
डॉक्टर के बयान के बाद पुलिस ने अजीत सिंह हत्याकांड में धनंजय सिंह की संलिप्तता मानते हुए उन्हें बदमाशो को रहने का स्थान मुहैया कराने एवं उन्हेंं पुलिस से बचाने का दोषी माना है। इस प्रकरण में पुलिस ने पूंछताछ के लिए धनंजय को नोटिस भी भेजा था। धनंजय सिंह नोटिस का संज्ञान नहीं लिया तत्पश्चात कोर्ट के जरिए गैर जमानती वारंट जारी किया गया है। माना जा रहा है कि पुलिस जल्द धनंजय सिंह को गिरफ्तार कर सकती है।
यहाँ बतादे कि विगत माह 06 जनवरी को लखनऊ में लगभग 9बजे रात्रि को थाना विभूतिखंड क्षेत्र के कठौता चौराहे के पास जनपद मऊ के गोहना निवासी पूर्व प्रमुख अजीत सिंह और उसके साथी मोहर सिंह पर बदमाशो अन्धा धुन्ध गोलियां बरसाई जिसमें अजीत सिंह की मौके पर ही मौत हो गयी थी। इस मामले में मोहर सिंह की तहरीर पर आजमगढ़ के कुंटू सिंह, अखंड सिंह सहित गिरधारी समेत छह लोगों पर मुकदमा दर्ज किया गया था। पुलिस अब तक चार लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है।इस घटना का सूटर गिरधारी दिल्ली से गिरफ्तार किया गया था। गत 16 फरवरी को लखनऊ पुलिस उसे रिमान्ड पर लेकर पूछ-ताछ कर रही थी कि वह भागना चाहा तो पुलिस मुठभेड़ में मारा गया। खबर यह भी आ रही है कि इसमें कुछ एक सफेद पोज लोगों का भी नाम आने की प्रबल संभावना है।
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