पोस्टल विभाग ने दो माफियाओ के नाम से जारी कर दिया डाक टिकट,जांच का हुआ आदेश


जौनपुर। भारत सरकार के संचार मंत्रालय ने पोस्ट आफिस की आय बढ़ाने के उद्देश्य से विभाग में माई स्टैम्प योजना लागू किया है। इस योजना के तहत डाक विभाग ने मृतक माफिया डान प्रेम प्रकाश सिंह उर्फ मुन्ना बजरंगी एवं  माफिया छोटा राजन के नाम से माई स्टैम्प योजना के तहत डाक टिकट जारी कर दिया गया है। यह मामला पोस्टल विभाग को सवालों के कटघरे में खड़ा कर दिया है। 
यहां बतादे कि कि इस योजना के तहत संचार मंत्रालय ने पोस्टल विभाग को आदेश दिया है कि विभाग की आमदनी बढ़ाने के लिए समान्य जनों से 300 रूपये विभाग के खाते में जमा कराके उससे एक फार्म भरवा कर उसके नाम से 05 रूपये का 12डाक टिकट जारी किया जा सकता है। यह टिकट पत्र आदि भेजने के साथ सम्बन्धित व्यक्ति के लिये यादगार रहेगा। 
सरकार की इस योजना के तहत उत्तर प्रदेश के जनपद कानपुर में जौनपुर के थाना नेवढ़िया क्षेत्र स्थित ग्राम कसेरू निवासी माफिया डान रहे मुन्ना बजरंगी जिनकी वर्षों पूर्व जेल के अन्दर गोली मार कर हत्या कर दिया गया है। यानी वह अब इस दुनियां में नहीं है। इनकी फोटो लगा कर डाक विभाग कानपुर ने डाक टिकट जारी कर दिया है। ऐसा क्यों और किसके इसारे पर किया गया यह तो जांच का बिषय है। इसी तरह जनपद कानपुर में के ही डाक विभाग ने माफिया डान छोटा राजन की फोटो के साथ  पांच रूपये का डाक टिकट जारी कर दिया है। 
इसका वीडियो वायरल होने पर चीफ पोस्ट मास्टर हिमांशु मिश्रा ने अपने बयान में कहा है कि विभाग की योजना माई स्टैम्प बनाने की चल रही है इसमें एक आईडी (परिचय पत्र ) देने और फ़ार्म भरने पर टिकट बनाया जा सकता है लेकिन डाक विभाग के कर्मचारी ने फोटो की पहचान नहीं कराया जो दन्ड का पात्र बन गया है। इसी तरह पोस्ट मास्टर वी के वर्मा का बयान है कि इस मामले की जांच का आदेश जारी कर दिया गया है। जांच में साबित होने पर कि विभाग ने माफिया का डाक टिकट जारी किया है कड़ी दन्डात्मक कार्यवाही की जाएगी। 
सवाल इस बात का है कि कि जब पूरा देश जानता है कि मुन्ना बजरंगी एवं छोटा राजन दोनों माफिया है तो पोस्टल विभाग के अधिकारी कर्मचारी इससे अंजान क्यों और कैसे हैं ? माफियाओ के नाम से टिकट जारी करने के पीछे बड़ी साजिश भी संभव है। 
यहाँ तो वही मुहवरा चरितार्थ हो गया "अंधेर नगरी चौपट राजा", "टका सेर भाजी टका सेर खाजा"। 

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